Email Address Kya Hota Hai | ईमेल एड्रेस क्या है और कैसे बनाएं?

Email Address Kya Hota Hai: आज के समय में शायद ही कोई इंसान हो जो ईमेल या ईमेल आईडी का इस्तेमाल ना करता हो। ईमेल का इस्तेमाल तो सभी करते है लेकिन आज भी कुछ इंसान ऐसे है जिन्हे यह नहीं पता होता है की ईमेल कया होता है? या ईमेल आईडी कया होती है? या ईमेल की फुल फॉर्म कया है? अगर आपको भी ईमेल के बारे में जानकारी नहीं है तो हमारा यह लेख आपके लिए बहुत ज्यादा फायदेमंद होने वाला है क्योंकि आज हम अपने इस लेख में ईमेल के बारे में अधिक से अधिक जानकारी उपलब्ध करा रहे है।      

Email का मतलब क्या है (What is the Meaning of Email Address in Hindi)

ईमेल का नाम और इसके बारे में अधिकतर इंसानो का पता होता है, कुछ इंसान सोचते है की ईमेल और ईमेल एड्रेस एक ही होते है। हालाँकि यह सच नहीं है ईमेल और ईमेल एड्रेस (email address kya hota hai) अलग अलग होते है, चलिए सबसे पहले हम आपको ईमेल के बारे में बताते है। आज के ज़माने में आप आसानी से किसी भी जानकारी को इंटरनेट के माध्यम से कुछ सेकंड में ही दूसरे के पास पहुंचा सकते है। सरल भाषा में समझे तो पुराने जमाने में आपको पात्र भेजने के लिए डाकखाने का इस्तेमाल करते है, आप अपना लेटर डाकखाने में देते थे फिर डाकखाने वाले आपकी चिठ्ठी को उस इंसान के पास तक पहुंचाते थे, जिसमे कई दिन लग जाते है, लेकिन अब जमाना बदल गया है आज आप इंटरनेट की मदद से कुछ सेकंड में ही अपना डाटा दुनिया के किसी भी कोने में भेज सकते है। कुछ सेकंड में आपका डाटा ट्रांसफर होने के प्रोसेस को ईमेल कहा जाता है, जिसमे आपको एक एड्रेस की जरुरत होती है, जिसे आप ईमेल एड्रेस कहते है, उसी एड्रेस पर आप डाटा सेंड करते है। चलिए अब हम आपको ईमेल एड्रेस के बारे में जानकारी उपलब्ध करा रहे है।

Email Address क्या होता है | What Is Email Address in Hindi

ऊपर आपने ईमेल के बारे में जाना अब हम आपको ईमेल एड्रेस (email address kya hota hai) के बारे में बताते है। अगर आप किसी भी इंसान या कम्पनी को मेल करना चाहते है तो आपके पास उस इंसान या कम्पनी का मेल एड्रेस होना बहुत ज्यादा जरुरी है, अगर आपके पास एड्रेस नहीं है तो आप उन्हें मेल नहीं भेज सकते है। आम भाषा में समझे तो पुराने जमाने में जब आप चिट्टी भेजते थे तो चिट्टी के ऊपर उस इंसान का नाम और घर का पता लिखते थे, जिससे आपकी चिट्टी उस इंसान के घर या पास पहुँच जाती थी। बस इसी तरह मेल भेजने के लिए एक एड्रेस कीजरूरत पड़तीहै, जिससे मेल उस इंसान के पास पहुँचती है, मेल भेजने और रिसीव करने के लिए आपको एक एड्रेस की जरुरत होती है जिसे ईमेल एड्रेस के नाम से जाना जाता है। ईमेल एड्रेस यूनिक एड्रेस होता है और कभी भी सेम एड्रेस किसी दूसरे का नहीं हो सकता है। अधिकतर इंसान फ्री मेल सर्विस जैसे जीमेल, याहू और हॉटमेल का इस्तेमाल करते है, जब आप इन सर्विस में कोई नई ईमेल एड्रेस बनाते है तो वो एड्रेस बिलकुल अलग और यूनिक होता है। ईमेल एड्रेस यूनिक होने की वजह से इसमें गलती या धोखाधड़ी होने का खतरा कम होता है, ईमेल एड्रेस को बहुत ज्यादा संभाल कर रखना चाहिए क्योंकि आप इसी ईमेल एड्रेस पर मेल प्राप्त कर सकते हो। इंटरनेट पर हर इंसान का अपना अलग ईमेल एड्रेस होता है लेकिन सभी ईमेल एड्रेस का फॉर्मेट एक जैसा ही होता है। यह तो आपको पता ही है दुनिया में सबसे ज्यादा ईमेल एड्रेस जीमेल या हॉटमेल के ही देखने को मिलते है, अगर आप ईमेल एड्रेस को देखोगे तो एमआईएल एड्रेस आपको दो हिस्सों में बंटा हुआ दिखाई देता है। जिसके एक हिस्से में इंसान एक नाम और दूसरे हिस्से में डोमेन नाम( जीमेल, याहू या हॉटमेल) होता है। आपको अधिकतर ईमेल एड्रेस Username (xyz )@Domain Name (gmail.com) में मिलते है।

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Email Address की जरूरत कहाँ कहाँ पड़ती है?

आज के समय में अधिकतर या लगभग सभी कामो में ईमेल एड्रेस या आईडी की जरुरत पढ़ती है, अगर आपके पास ईमेल ईद नहीं है तो आपको बहुत ज्यादा दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है। अगर आपके पास एंड्राइड मोबाइल फ़ोन है या आपने नया एंड्राइड फ़ोन लिया है और आपके पास ईमेल आईडी नहीं है तो आप अपने फ़ोन को सही से ऑपरेट नहीं कर सकते है क्योंकि ईमेल एड्रेस के बिना आप गूगल प्ले स्टोर का इस्तेमाल नहीं कर सकते है और अगर आप गूगल प्ले स्टोर का इस्तेमाल नहीं कर सकते है तो आप फ़ोन में किसी भी प्रकार की ऍप या गेम को डाउनलोड नहीं कर पाएंगे, इसके अलावा Youtube को चलाने के लिए भी आपको ईमेल आईडी की जरुरत होती है। आज के समय गूगल और माइक्रोसॉफ्ट दुनिया की दो सबसे बढ़ी कम्पनियां है और दोनों ही अपनी अपनी अलग ईमेल आईडी प्रोवाइड कराती है। गूगल जो ईमेल ईद प्रोवाइड कराती है वो जीमेल के नाम से जनि जाती है आज के समय सबसे ज्यादा ईमेल एड्रेस जीमेल के ही देखने को मिलते है, दूसरी तरफ Microsoft भी अपनी अलग Email ID Provide कराती है जिसे Outlook के नाम से जाना जाता है।

ई-मेल का अविष्कार किसने किया

ऊपर आपने ईमेल और ईमेल एड्रेस के बारे में जानकारी प्राप्त की, लेकिन अधिकतर इंसान ईमेल का इस्तेमाल तो करते है लेकिन उन्हें यह नहीं पता होता की ईमेल का आविष्कार किसने किया या ईमेल का आविष्कार कोण से वर्ष में हुआ था। हम आपको बता दें की ई-मेल का आविष्कार अमेरिका के रहने वाले Raymond Samuel Tomlinson ने वर्ष 1971 मे करा था, Raymond Samuel Tomlinson एक कंप्युटर प्रोग्रामर के रूप में काम करते थे।

भारत मे ई-मेल की शुरुआत कब हुई ?

ईमेल का आविष्कार वर्ष 1971 में हो गया था लेकिन भारत में ईमेल की शुरुआत काफी लेट हुई थी। दिनांक 15 अगस्त वर्ष 1995 को पहली बार भारत मे इंटरनेट की सुविधा शुरु की गई थी, इसी दिन से भारत में ईमेल की सुविधा भी शुरू हो गई थी, इसीलिए आप कह सकते है की भारत में ईमेल की सुविधा 1995 से उपलब्ध कराई गई थी।

ईमेल एड्रेस की फुल फॉर्म हिंदी में (Email address  Full Form in Hindi)

काफी सारे लोगो के मन में यह सवाल होता है की ईमेल एड्रेस की फुल फॉर्म कया होती है? या इस तरह से समझ लें की अधिकतर इंसानो को ईमेल एड्रेस की फुल फॉर्म (Email Full Form in Hindi ) के बारे में जानकारी नहीं होती है। यह तो हम सभी अच्छी तरह से जानते है की ईमेल का इस्तेमाल आप इंटरनेट के माध्यम से ही कर सकते है, इसलिए Email का पूरा नाम इलेक्ट्रॉनिक मेल ( Electronic Mail ) होता है। Email address Full Form in Hindi – इलेक्ट्रॉनिक मेल एड्रेस

Email Address कैसे बनाये?

दोस्तों आपका email address बनाने के लिए आपके पास एक मोबाइल या लैपटॉप होना जरूरी है। जिसमें आपको गूगल अकाउंट या gmail देखने को मिल ही जाएगा चलिए आपको अपना email address कैसे बनाना है स्टेप बाय स्टेप जानते हैं।

1 – सबसे पहले आप अपने मोबाइल या लैपटॉप को ओपन करके उसमे गूगल खोल लें, उसके बाद जिस भी मेल सर्विस जैसे जीमेल, याहू या हॉटमेल इत्यादि में आप ईमेल आईडी बनाना चाहते है, उस मेल सर्विस को ओपन कर लें।

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2 – जब मेल सर्विस का होम पेज ओपन हो जाता है तो उसमे आपको sign up का ऑप्शन दिखाई देगा, ईमेल आईडी बनाने के लिए आपको साइन अप के बटन पर क्लिक कर दें।

3 – साइन अप के बटन पर क्लिक करने के बाद आपके सामने एक पेज खुलता है, जिसमे आपके सामने एक पेज खुलता हैए जिसमे कुछ जानकारी मांगी जाती है। 

पेज में फर्स्ट नेम, लास्ट नेम भरना होता है, उसके बाद डेट ऑफ़ बर्थ डालनी होती है। दोनों चीजे सावधानीपूर्वक भरने के बाद नेक्स्ट पर क्लिक कर दें।

4 – अब आपके सामने ईमेल आईडी बनाने का ऑप्शन आता है, इसमें आपको अपनी पसंद की ईमेल आईडी डालनी है ख्याल रखें की आपके द्वारा डाली गई ईमेल आईडी यूनिक होनी चाहिए, अब आप सोच रहे होंगे की ईमेल ईद यूनिक है या नहीं इसका पता कैसे करें तो परेशान ना हो अगर आपकी ईमेल आईडी यूनिक नहीं है तो ईमेल आईडी बनेगी ही नहीं। ऐसे में मेल  सर्विस की साईट आपको कुछ सजेशन देती है, आप उनमे से कोई एक आईडी भी चुन सकते है या यूनिक आईडी बना कर डाल सकते है। यूनिक आईडी भरने के बाद नेक्स्ट के बटन पर क्लिक करें।

5 – उसके बाद आपको पासवर्ड भरना है, आप अपनी सुविधा के अनुसार पासवर्ड रख सकते है, पासवर्ड ऐसा रखें जिसे आप याद रख सकें क्योंकि इसी ईमेल आईडी और पासवर्ड से आपकी मेल खुलती है। पासवर्ड बनाते समय एक बात का ख्याल हमेशा रखें की पासवर्ड हमेशा थोड़ा जटिल रखें, पासवर्ड कभी भी अपने नाम या जन्म तारीख पर नहीं रखना चाहिए क्योंकि इस तरह के पासवर्ड को हैक करना आसान होता है। पासवर्ड भरने के बाद नेक्स्ट के बटन पर क्लिक कर दें।

6 – बस अब आपकी ईमेल आईडी बन गई है, अब आपके सामने मेल का होम पेज खुल जाएगा, आप जिसे चाहे मेल भेज सकते है।    

ईमेल में इस्तेमाल होने वाले महत्वपूर्ण शब्द

ऊपर आपने ईमेल के बारे में जाना, अब हम आपको कुछ ऐसे शब्दों के बारे में जानकारी उपलब्ध करा रहे है, जिसकी जानकारी होना बहुत ज्यादा जरुरी है। अगर आपको निम्न शब्दों के बारे में जानकारी नहीं है तो आप ईमेल का इस्तेमाल नहीं कर सकते है, चलिए जानते है उन शब्दों एक बारे में जो ईमेल के लिए बहुत ज्यादा जरुरी है।

1 – सेन्डर ईमेल आईडी: किसी भी इंसान को भेजने के लिए आपको उसकी ईमेल आईडी की जानकारी होना बहुत ज्यादा जरुरी है, अगर आपको ईमेल एड्रेस के बारे में जानकारी नहीं है तो आप ईमेल नहीं भेज सकते है।

2 – अटैचमेंट:  अगर आप किसी भी इंसान को किसी भी प्रकार की फाइल, पीडीएफ, वीडियो, फोल्डर इत्यादि भेजना चाहते है तो यह आप अटैचमेंट करके भेज सकते है। सबसे पहले आप जिसे फाइल भेजना चाहते है उसकी ईमेल आईडी डालें उसके बाद सब्जेक्ट और फिर जिस फाइल को भेजना चाहते है उसे अटैच करें और भेज दें।

3 – सब्जेक्ट लाइन:  जब आप किसी को मेल करते है तो आपको एक सब्जेक्ट लाइन दिखाई देगी, सब्जेक्ट लाइन में आप को या लिखना है की मेल किस वजह से भेजी गई है। सब्जेक्ट लाइन का अबसे बड़ा फायदा है की इनबॉक्स मे सब्जेक्ट लाइन देख कर इंसान आपकी मेल को आसानी से देख और समझ सकता है।  

4 – फॉरवर्ड: अगर आपके पास कोई ईमेल आई है और आप उस ईमेल को किसी आने इंसान के पास भेजना चाहते है तो आप उस ईमेल को फॉरवर्ड बटन के सहारे वही ईमेल जिसके पास चाहे भेज सकते है।

5 – रिप्लाई: मान लीजिए आके पास कोई ईमेल आई है और आपको उस ईमेल का जवाब देना है या जिसने ईमेल भेजी है उससे कुछ पूछना है तो आपको सबसे पहले आप रिप्लाई के बटन पर क्लिक करें, उसके बाद आप उस ईमेल का जवाब लिख कर भेज सकते है।

6 – डिलीट: मेल पर दिन भर बहुत सारी मेल आती है, जिन्हे आप इनबॉक्स में देख सकते है। ऐसे में आपको कोई खास मेल ढूंढ़ने में काफी परेशानी होती है, इसके अलावा आपका इनबॉक्स भी भरता है। ऐसे में देलेट का बटन आपके लिए बहुत उपयोगी साबित होता है क्योंकि इस बटन की मदद से आप इनबॉक्स में आने वाली बिना काम की मेल को डिलीट कर सकते है| आपके द्वारा डिलीट की गई मेल कुछ दिनों तक ट्रैश फ़ोल्डार में रहती है उसके बाद वो सभी मेल परमानेंटली डिलीट हो जाती हैं।

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7 – इनबॉक्स: आपको दिन भर कहाँ से मेल आई है या कितनी मेल आई है इसकी जानकारी आपको इनबॉक्स में मिलती है।

8 – कार्बन कॉपी या Cc:  ईमेल का यह ऑप्शन काफी ज्यादा लाभकारी है ऐसे लोगो के जिन्हे एक ईमेल कई सारे लोगो को एक साथ भेजनी है। CC का ऑप्शन अधिकतर लोगो ने देखा होगा लेकिन काफी सारे लोगो को इस ऑप्शन का नाम कया है तो हम आपको बता दें की cc का मतलब है कार्बन कॉपी।

Email के फायदे

अधिकतर इंसान ईमेल के बारे में जानते है लेकिन काफी सारे लोग इसके फायदों के बारे में नहीं जानते है, चलिए अब हम आपको ईमेल के फायदे के बारे में जानकारी उपलब्ध करा रहे है।

1 – ईमेल के माध्यम से आप डाटा या फाइल या किसी भी तरह की जानकारी कुछ सेकंड के अंदर भेज सकते है। आप ऐसे भी समझ सकते है पहले के ज़माने में हम डाक का इस्तेमाल करते थे जिन्हे पहुँचने में कई दिन लग जाते है लेकिन जब से ईमेल की सुविधा आई है तब से सुचना कुछ सेकंड में ही एक इंसान से दूसरे इंसान के पास पहुँच जाती है।

2 – आज के समय में मोबाइल फ़ोन और इंटरनेट लगभग सभी के पास है, इसीलिए आप कहीं पर भी बैठ कर ईमेल कर भी सकते है और ईमेल चेक भी कर सकते है।

3 – Email का इस्तेमाल करने के लिए आपको किसी भी तरह का चार्ज नहीं देना होता है, ईमेल अकाउंट बनाना और इसे इस्तेमाल करना बिलकुल फ्री है। 

4 – Email भेजना और देखना बहुत ही आसान है, इसके लिए आपको ज्यादा टेक्निकल जानकारी होना जरुरी नहीं है। अगर आपको किसी इंसान को ईमेल भेजना है लेकिन आपको उसका पूरा नाम याद नहीं है तो आप उस ईमेल आईडी का पहला लेटर लिखिए आपके सामने उस लेटर से जितनी भी आईडी आपके आपके सामने आ जाएंगी आप सेलेक्ट करके भेज सकते है।

5 – ईमेल का एक सबसे बड़ा फायदा यह है की मान लीजिए आपको बहुत सारे लोगो को एक ही मेल भेजनी है जैसे असाइनमेंट, इन्विटेशन कार्ड इत्यादि तो इस स्थित में आप एक मेल बनाए और जितने भी लोगो को भेजना चाहते है उन्हें ऐड करके एक बार में ही सबको आसानी से मेल भेज सकते है।

6 – अगर आप किसी को मेल कर रहे है तो आपको यह भी आसानी से पता चल जाता है की मेल सेंड हुई है या नहीं।

Email के नुकसान

ऊपर आपने ईमेल के फायदे के बारे में जाना, अब हम आपको ईमेल के नुक्सान के बारे में जानकारी दे रही है। हालाँकि ईमेल के नुक्सान मुश्किल से ही देखने को मिलते है।

1 – जब आप काफी समय से अपनी मेल चेक नहीं करते है तो आपके email account में बहुत सारी emails एकत्रित हो जाती है, ऐसे में काम की ईमेल को ढूंढ़ने में काफी ज्यादा समय लग जाता है। 

2 – यह तो आप अच्छी तरह से जानते है की इंटरनेट पर हजारो तरह के वायरस होते है, जब आप किसी को ईमेल भेजते है तो कुछ ईमेल में वायरस आ जाता है। जिसकी वजह से कई आपके द्वारा भेजा गया डाटा भी वायरस का शिकार हो जाता है, हालाँकि आज के समय में ईमेल आईडी उपलब्ध करने वाली साईट काफी सचेत हो गई है और वायरस से इफेक्टेड ईमेल को email account के inbox में नहीं दिखाई जाता है, बल्कि इस तरह की ईमेल आपको स्पैम फोल्डर में पहुँचती है।

निष्कर्ष –

हम आशा करते है की आपको हमारे लेख ईमेल कया है? या ईमेल आईडी कया होती है? में दी गई जानकारी पसंद आई होगी, अगर आपको हमारे द्वारा ड्डी गई जानकारी पसंद आई है तो आप हमारे इस पेज को अधिक से अधिक शेयर करें जिससे हमारा यह लेख उस इंसान एक पास तक पहुंच जाएं जिसे ईमेल के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं है।

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